औरंगाबाद: ( बिहार ) बिहार – सरकार के पूर्व मंत्री एवं राष्ट्रीय जनता दल प्रदेश उपाध्यक्ष, डॉक्टर सुरेश पासवान ने कहा है, कि दो दिवसीय दौरा पर बिहार आए देश के प्रधानमंत्री, माननीय नरेंद्र मोदी का दौरा समाप्त हो गया. बिहार के लोगों को उम्मीद था कि माननीय प्रधानमंत्री द्वारा बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने का घोषणा किया जाएगा. लेकिन उसके बारे में कोई चर्चा भी नहीं किया गया. जिससे बिहार के चौदह करोड़ लोगों को फिर एक बार निराश होना पड़ा.पटना यूनिवर्सिटी को सेंट्रल यूनिवर्सिटी का दर्जा दिया जाएगा.
कुटकु मंडल डैम में गेट – फाटक लगाने का उद्घाटन किया जाएगा, क्योंकि उन्होंने 2019 में गेट लगाने का शिलान्यास किया था,लेकिन उस पर भी चुप्पी साध लिया.हरिहरगंज – औरंगाबाद – पटना जो ट्रैफिक के लिहाज़ से अति व्यस्ततम सड़कों में से एक है. जिसे फोरलेन सड़क बनाने के लिए डी.पी.आर. बन गया था. उसे रद्द कर दिया गया. उसके बदले सासाराम – पटना फोरलेन सड़क का शिलान्यास किया जाना अन्याय है, क्योंकि वर्षों से हरिहरगंज – औरंगाबाद – पटना फोरलेन सड़क की न सिर्फ़ प्रक्रियाएं पूरी की गई, बल्कि देश के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के माननीय मंत्री, नितिन गडकरी द्वारा बोधगया कार्यक्रम के दौरान स्वीकृति देने का घोषणा किया गया था.
इसलिए औरंगाबाद, अरवल एवं पटना जिला के नागरिकों को एक तरह से निराश ही नहीं किया, बल्कि विकास के पैमाने से कोसो दूर कर दिया. इसलिए आने वाला विधानसभा चुनाव में इसका भारी खामियाजा एन.डी.ए. गठबंधन को उठाना पड़ेगा.
आज जिन परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया गया है. वह सब के सब पुराने ऑन गोइंग परियोजना है. जैसे: नवीनगर सुपर थर्मल पावर प्लांट, सोननगर – अंडाल तीसरी रेल लाइन एवं सोननगर – मोहम्मद गंज तीसरी रेल लाइन पर वर्षों से रेल गाड़ी दौड़ रही है. वैसे योजनाओं का उद्घाटन कहीं न कहीं जनता के आंख में धूल झोंकने का काम किया गया है.
डोभी – गया – पटना फोरलेन का उद्घाटन भी जो किया गया. वह भी लगभग एक वर्ष पहले से उस सड़क पर गाड़ियां दौड़ रही है.यानी नया बोतल में पुरानी शराब परोसने वाली कहावत को माननीय प्रधानमंत्री ने आज चरितार्थ करने का काम किया है. यानि कुल मिलाकर के दो दिवसीय कार्यक्रम को कहा जाए तो सिर्फ़ और सिर्फ़ इस चुनावी वर्ष में चुनावी जुमला फेंक करके चले गए. जिससे उनको कोई विशेष फ़ायदा नहीं मिलने वाला है. बिहार की महान जनता एक – एक चीज़ों को बहुत बारीकी से विश्लेषण करती है. रिपोर्ट :
अजय कुमार पाण्डेय