मोबाइल फोन का उपयोग गर्भवती महिलाओं को कम करना चाहिए

Pregnant women should reduce the use of mobile

मोबाइल फोन का उपयोग गर्भवती महिलाओं को कम करना चाहिए
Pregnant women should reduce the use of mobile

इसमें कोई शक नहीं कि मोबाइल फोन जो अब स्मार्टफोन बन चुका है हमारी जिंदगी का ऐसा अहम हिस्सा बन चुका है जिसे हम अपनी जिंदगी से अब अलग नहीं कर सकते. मोबाइल के बिना अपनी लाइफ की कल्पना करना भी शायद मुश्किल ही लगे. टॉडलर्स यानी छोटे बच्चों से लेकर टीनएजर्स और बुजुर्गों तक… हर किसी के हाथ में स्मार्टफोन रहता है और बड़ी संख्या में लोगों की इसकी लत भी लग चुकी है. इस लिस्ट में गर्भवती महिलाएं भी शामिल हैं. लेकिन मोबाइल के एक्सेस यूज का न सिर्फ आप पर बल्कि गर्भ के अंदर पल रहे बच्चे पर भी बुरा असर पड़ता है.

गर्भ के अंदर पल रहे बच्चे पर कैसे पड़ता है बुरा असर:

बच्चे में बिहेवियर से जुड़ी दिक्कतें:

मोबाइल फोन की स्क्रीन और उससे निकल रही ब्राइट ब्लू लाइट को लंबे समय तक देखते रहने से न सिर्फ आपकी आंखों को नुकसान होता है. बल्कि हाल ही में हुई एक स्टडी की मानें तो अगर प्रेग्नेंट महिला लंबे समय तक मोबाइल फोन यूज करे तो होने वाले बच्चे में बिहेवियर से जुड़ी दिक्कतें हो सकती हैं. वैज्ञानिकों ने डेनमार्क में इसको लेकर एक स्टडी की जिसमें प्रसव पूर्व और प्रसव के बाद मोबाइल फोन यूज करने का बच्चे के व्यवहार और इससे जुड़ी समस्याओं के बीच क्या लिंक ये जानने की कोशिश की गई.

हाइपरऐक्टिविटी और बिहेवियरल इशू का शिकार:

इस स्टडी में ऐसी महिलाओं को शामिल किया गया जिनके बच्चे 7 साल के थे. स्टडी के दौरान महिलाओं को एक क्वेश्चेनेयर दिया गया था जिसमें उनके बच्चे की हेल्थ और बिहेवियर के साथ-साथ वे खुद फोन का कितना इस्तेमाल करती हैं, इससे जुड़े सवालों के जवाब देने थे. स्टडी के आखिर में यह बात सामने आयी कि जिन महिलाओं के बच्चे प्रसव से पूर्व और प्रसव के बाद स्मार्टफोन के प्रति एक्सपोज थे यानी जिन मांओं ने प्रेग्नेंसी के दौरान और डिलिवरी के बाद भी मोबाइल यूज ज्यादा किया उनके बच्चे हाइपरऐक्टिविटी और बिहेवियरल इशूज का शिकार थे.

प्रेग्नेंट महिलाएं इन बातों का रखें ध्यान:

मोबाइल फोन पर बहुत ज्यादा बात करने की बजाए टेक्स्ट भेजें या लैंडलाइन का उपयोग करें.

प्रेग्नेंसी के दौरान बहुत ज्यादा सोशल मीडिया को स्क्रॉल न करें.

जहां तक संभव हो हैंड्स फ्री किट यूज करें ताकि सिर और शरीर के नजदीक रेडिएशन को कम किया जा सके.

सौजन्य: गृहसहेली

(हेडिंग के अलावा इस स्टोरी को ismatimes स्टाफ द्वारा एडिट नहीं किया गया है. मानवता के प्रति सवेदनशीलता व जागरूकता के उद्देश्य से प्रकाशित किया जा रहा है.)