एल0आई0सी विकास अधिकारी की ज्येष्ठ पुत्री बनी पीरो में अनुमंडल पदाधिकारी
अजय कुमार पाण्डेय:
औरंगाबाद: ( बिहार ) भारतीय जीवन बीमा निगम शाखा कार्यालय, औरंगाबाद से 31 जुलाई 2023 को सेवानिवृत्ति प्राप्त कर चुके विकास अधिकारी, विकास कश्यप की ज्येष्ठ ( बड़ी ) पुत्री, श्रेया कश्यप के साथ-साथ 47 अन्य अफसरों को भी रविवार छुट्टी के दिन ही सामान्य प्रशासन विभाग ने बिहार प्रशासनिक सेवा अफसरों को स्थानांतरित किए जाने की अधिसूचना जारी की! जारी अधिसूचना के अनुसार 23 अनुमंडल में नये अनुमंडल पदाधिकारी की तैनाती की गई है! जिसमें भारतीय जीवन बीमा निगम शाखा कार्यालय औरंगाबाद से सेवानिवृत्ति प्राप्त कर चुके विकास अधिकारी, विकास कश्यप के ज्येष्ठ पुत्री एवं अनुमंडलीय लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी जहानाबाद में कार्यरत पदाधिकारी श्रेया कश्यप को पीरो का अनुमंडल पदाधिकारी बनाया गया है!
ज्ञात हो कि बिहार प्रशासनिक सेवा में वर्तमान पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप जब विगत माह 02 अगस्त 2023 को अपने पिता विकास कश्यप के लिए अभिकर्ता समूह की ओर से आयोजित विदाई समारोह सह सम्मान समारोह कार्यक्रम में भाग लेने हेतु औरंगाबाद पहुंची थी! तब उस वक्त औरंगाबाद - गया राष्ट्रीय राज्य मार्ग संख्या - 02 पर स्थित एक चर्चित होटल में आयोजित कार्यक्रम के दौरान अभिकर्ता समूह की ओर से पुष्प वर्षा करते हुए तिलक लगाकर, माला पहनाकर एवं आरती उतारकर भव्य स्वागत किया गया था! जिसमें वर्तमान पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप के पिता विकास कश्यप, माता शशि बाला कश्यप एवं द्वितीय कनिष्ठ बहन साक्षी कश्यप भी मौजूद थे! ध्यातव्य हो कि पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप की छोटी बहन साक्षी कश्यप भी दिल्ली से प्लास्टिक सर्जरी विभाग में एम0एस0 की डिग्री प्राप्त कर वर्तमान राजस्थान अंतर्गत जयपुर स्थित सवाई मानसिंह मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल में प्लास्टिक सर्जरी विभाग से एम0सी0एच0 कर रही है! उसी आयोजित कार्यक्रम में जब वर्तमान पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप को मंच पर बोलने का मौका मिला था! तब श्रेया कश्यप ने उत्साहित होकर एवं अपने बचपन की याद ताजा करते हुए मंच से संबोधित करते हुए कहा था, कि मेरा घरेलू नाम इंशु है! आज भले ही मैं जहानाबाद में प्रशासनिक पद पर कार्यरत हूं! लेकिन मैं बचपन से ही हमेशा अपने पापा के साथ रहकर इंश्योरेंस का फॉर्म भरती रही हूं! शुरू से ही मैं भारतीय जीवन बीमा निगम के फॉर्म में दिए हुए सभी कॉलम को पढ़कर यस नो, यस नो, भरके जवाब देती रहती थी! इसलिए आज भी मुझे सभी लोगों के साथ मिलकर बचपन से बिताया हुआ जीवन याद है, तथा शुरू से ही मुझे इंश्योरेंस के बारे में भी पता है! जो मैं कदापि नहीं भूल सकती हूं! इसमें मेरे पापा - मम्मी का बहुत बड़ा योगदान है! जो मेरे लिए बहुत बड़ी गर्व की भी बात है!
ध्यातव्य हो कि औरंगाबाद में सन् 1988 दिसंबर से लेकर 31 जुलाई 2023 तक यानी की 35 वर्षों तक लगातार भारतीय जीवन बीमा निगम शाखा कार्यालय, औरंगाबाद में ही रहकर सेवा दे चुके एवं वर्तमान पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप के पिता का पैतृक आवास हाजीपुर पड़ता है! जिनका जन्म 3 जुलाई 1963 को हुआ था! इसके अलावे विकास अधिकारी विकास कश्यप के पिता व पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप के दादा का नाम वीरेंद्र नारायण तथा विकास अधिकारी विकास कश्यप के माता का नाम व पीरो अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप के दादी का नाम भानु है, और विकास अधिकारी विकास कश्यप के बड़े भाई एवं पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप के चाचा भी रिम्स हॉस्पिटल रांची में सुपरिटेंडेंट के पद पर कार्यरत थे! जो सेवानिवृत्ति प्राप्त कर चुके हैं!
ध्यातव्य हो कि पीरो की अनुमंडल पदाधिकारी बनी श्रेया कश्यप के पिता विकास कश्यप जब अपने पैतृक आवास हाजीपुर से चलकर सर्वप्रथम औरंगाबाद पहुंचे थे! तब उन्हें सन् 1988 के दिसंबर महीने में भारतीय जीवन बीमा निगम शाखा कार्यालय, औरंगाबाद में प्रशिक्षु अधिकारी के पद पर नियुक्ति हुई थी, और 01 अक्टूबर 1989 से इनकी नियुक्ति भारतीय जीवन बीमा निगम शाखा कार्यालय, औरंगाबाद में ही विकास अधिकारी के पद पर कर दिया गया था! तब से औरंगाबाद में ही रहकर अपना मकान भी तेलिया पोखरा के पास बना लिए!